Monday, March 26, 2012

UPTET : TET Candidates Made Dharna Pradarshan , Submitted Memorandum


टीईटी अभ्यर्थियों का धरना, ज्ञापन सौंपा
(UPTET : TET Candidates Made Dharna Pradarshan , Submitted Memorandum )


Today everywhere news papers filled with TET related News esp. Demanding - Recruitment on the basis of TET Merit ( A Valid Ground as per NCTE Guidelines , Government Order)

Somewhere - Candidates demanding Acadmic based Merit ( But Are they oppose NCTE Guideline,Where it is specified clearly weightage of TET marks in selection, Oppose KVS selection where cut-off on CTET Markrs decided later, Similarly in Rajasthan Grade -III Teacher Recruitment, Advt. published in SSA Chandigarh giving 50 % weightage of CTET / TET Marks )
Is it easily possible to fulfill their demands ?
If they demand to punish only culprits / culprit candidate, then it can be a reason.


शिक्षक पात्रता परीक्षा रद्द न करने समेत कई मांगें उठाईं  


बदायूं। शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) परीक्षा रद न किए जाने समेत तमाम मांगों को लेकर यूपी टीईटी संघर्ष मोर्चा ने मालवीय आवास पर धरना-प्रदर्शन किया। उसके बाद मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन सिटी मजिस्ट्रेट को सौंपा।

मोर्चा जिलाध्यक्ष पवन कुमार सिंह ने कहा कि हम अपना अधिकार लेकर रहेंगे। चाहे किसी भी हद तक जाना पड़े। टीईटी की परीक्षा शासन रद नहीं कर सकता। क्योंकि मेहनत कर परीक्षा देने वाले अभ्यर्थियों के लिए यह अच्छा निर्णय नहीं होगा। दोषी अधिकारियों और अभ्यर्थियों के खिलाफ जांच के बाद कार्रवाई की जाए। उत्तीर्ण अभ्यर्थियों का मेरिट के आधार पर चयन किया जाए। प्राइमरी स्कूल में रिक्त 72 हजार 825 शिक्षकों के पदों पर टीईटी अभ्यर्थियों की भर्ती प्रक्रिया शुरू की जाए। अभ्यर्थियों का शीघ्र समायोजन किया जाए। जूनियर स्कूलों में रिक्त पदों पर भर्ती का विज्ञापन जारी किया जाए। उन्होंने कहा कि पांच बिंदुओं पर ध्यान देकर इसका समाधान किया जाए। अन्यथा संगठन आंदोलन करने को बाध्य होगा। उन्होंने कहा कि पूरे प्रदेश में मोर्चा का शीघ्र ही गठन किया जाएगा।
जिला संगठन मंत्री विनय चौहान, मीडिया प्रभारी पवन शंखधार ने कहा कि अभ्यर्थी शीघ्र ही सांसद धर्मेंद्र यादव के समक्ष अपनी मांगे रखेंगे। यदि हमारी बात नहीं सुनी गई तो प्रदेश स्तर पर आंदोलन होगा और सरकार विरोधी अभियान चलाया जाएगा। कहा कि गरीब अभ्यर्थियों ने जैसे-तैसे फार्म और किताबों के लिए रकम एकत्र कर यह परीक्षा पास की है और सरकार उनकी उम्मीदों पर पानी फेरने पर तुली है। यह किसी हाल में नहीं होने दिया जाएगा। इस मौके पर भीष्मदेव मिश्र, राहुल राठौर, दीपेंद्र सिंह, संजय शर्मा, गौरव शंखधार, धीरज सिंह, मुन्ने खां, छविनाथ शर्मा, दर्पण यादव, मनोज सक्सेना, अवनेश मिश्र, सुनील सिंह, संतोष पाल सिंह, शिशुपाल सिंह, ब्रजेश कुमार आदि सैकड़ों लोग शामिल रहे।


News : Amar Ujala (26.3.12)

UPTET : TET Candidates Asked - Why they punished instead of Culprits / Corrupts


बोले टीईटी उत्तीर्ण - भ्रष्टाचार की सजा अभ्यर्थियों को क्यों! 
(UPTET : TET Candidates Asked - Why they punished instead of Culprits / Corrupts )

Today everywhere news papers filled with TET related News esp. Demanding - Recruitment on the basis of TET Merit ( A Valid Ground as per NCTE Guidelines , Government Order)

Somewhere - Candidates demanding Acadmic based Merit ( But Are they oppose NCTE Guideline,Where it is specified clearly weightage of TET marks in selection, Oppose KVS selection where cut-off on CTET Markrs decided later, Similarly in Rajasthan Grade -III Teacher Recruitment, Advt. published in SSA Chandigarh giving 50 % weightage of CTET / TET Marks )
Is it easily possible to fulfill their demands ?
If they demand to punish only culprits / culprit candidate, then it can be a reason.


•पुराने विज्ञापन के नियम व शर्तों के अनुसार भर्ती प्रक्रिया शुरू हो
युवाओं की जायज मांग को सीएम तक पहुंचाएं सादाबाद विधायक 


See News :

हाथरस। शिक्षक प्रात्रता परीक्षा उत्तीर्ण अभ्यर्थियों की रात की नींद और दिन का चैन छिन गया है। रविवार को टीईटी उत्तीर्ण संघर्ष मोर्चा की बैठक में यह परेशानी साफ-साफ झलकी।
बैठक में अभ्यर्थियों ने भ्रष्टाचार में लिप्त दोषी अधिकारियों के साथ-साथ दोषी अभ्यर्थियों को भी जेल भेजने की मांग की, ताकि भविष्य में कोई धांधली न कर सके। इसके साथ ही अभ्यर्थियों ने पूर्व के विज्ञापन के नियम व शर्तों के अनुसार भर्ती प्रक्रिया शुरू करने की मांग सरकार से की। अध्यक्ष साहब सिंह ने कहा कि चंद दोषी अधिकारी व असफल लोगों की सजा ईमानदार अभ्यर्थियों को क्यों दी जा रही है। वक्ताओं ने सादाबाद विधायक से आग्रह किया कि वे उनकी जायज मांगों को मुख्यमंत्री अखिलेश यादव तक पहुंचाएं। टीईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों पर हुई लाठी चार्ज की निंदा करने वाले कांग्रेस शहर अध्यक्ष के प्रति अभ्यर्थियों ने आभार व्यक्त किया तथा केन्द्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री को पत्र लिखकर इसमें सहयोग दिलाने की अपील की। इस अवसर पर योगेश सेंगर, अभिषेक कौशिक, सुधाकर शर्मा, नवाब, विनय कुमार, पूनम सिंह, ज्योति सेंगर, नीरज कुमार थे।


News : Amar Ujala (26.3.12)

UPTET : Vishist BTC Dharna in Lucknow on 28th March Against TET Merit

टीईटी मेरिट के विरोध में 28 मार्च को लखनऊ में धरना 
(UPTET : Vishist BTC Dharna in Lucknow  on 28th March Against TET Merit )


इलाहाबाद। उत्तर प्रदेश विशिष्ट बीटीसी संघर्ष मोर्चा की ओर से प्राथमिक शिक्षकों की भर्ती में टीईटी मेरिट के विरोध में 28 मार्च को लखनऊ में धरना देने के साथ मुख्यमंत्री को ज्ञापन देंगे।


News : Amar Ujala (26.3.12)

UPTET Allahabad : Candle March for Recruitment on TET Merit



टीईटी मेरिट के आधार पर नियुक्ति को कैंडिल मार्च
(UPTET Allahabad : Candle March for Recruitment on TET Merit )

इलाहाबाद। उत्तर प्रदेश टीईटी उत्तीर्ण एकता संघर्ष मोर्चा ने टीईटी मेरिट के आधार पर शिक्षकों की भर्ती करने की मांग को लेकर बघाड़ा एनी बेसेंट स्कूल से लेकर शहीद लाल पद्मधर की प्रतिमा तक कैंडिल जुलूस निकाला। टीईटी संघर्ष मोर्चा के विवेकानंद ने कहा कि इस जुलूस का आयोजन शासन को उनकी मांगों को लेकर सचेत करने को लेकर किया गया था। मार्च में बड़ी सैकड़ों टीईटी अभ्यर्थी शामिल रहे। बैठक में अश्वनी दुबे,रामजी मौर्य, विवेक त्रिपाठी मौैजूद थे।


News : Amar Ujala (26.3.12)

UPTET : TET Merit Holder and Vishist BTC Morcha Oppose each other for Selection Criteria



टीईटी मेरिट को लेकर खींचतान - टीईटी और विशिष्ट बीटीसी संघर्ष मोर्चा आमने-सामने

(UPTET : TET Merit Holder and Vishist BTC Morcha Oppose each other for Selection Criteria )

(Vishist BTC Morcha Pic ->)

•29 मार्च को आमरण अनशन की चेतावनी
•20 को लखनऊ में हुए लाठीचार्ज की निंदा
प्रतापगढ़। टीईटी में सफल अभ्यर्थी चयन की खातिर टीईटी मेरिट और शैक्षिक मेरिट को आधार बनाए जाने की मांग अलग-अलग कर रहे हैं। टीईटी संघर्ष मोर्चा जहां टीईटी मेरिट की मांग पर अड़ा है तो वहीं विशिष्ट बीटीसी संघर्ष मोर्चा शैक्षिक मेरिट के आधार पर चयन की मांग कर रहा है। अभ्यर्थियों में हुए बिखराव को लेकर टीईटी का चयन अब होगा भी कहना मुश्किल है।
टीईटी संघर्ष मोर्चा की रविवार को कचहरी परिसर में बैठक हुई। महामंत्री विपिन चंद्र तिवारी ने इस मौके पर कहा, 20 मार्च को लखनऊ में हुआ लाठीचार्ज निंदनीय है। अध्यक्ष विवेक सिंह ने कहा, शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया टीईटी मेरिट के आधार पर ही की जानी चाहिए। यह भी कहा कि विज्ञापन में इसी बात का जिक्र भी किया गया था। ऐसा न कर मौजूदा सरकार पूर्व की सरकार के प्रति खुद के द्वेष को ही जाहिर करेगी। चेतावनी दी अगर 29 मार्च तक सरकार कोई निर्णय नहीं लेती तो वे लोग आमरण अनशन करेंगे। संघ प्रवक्ता राघवेंद्र प्रताप ने कहा, 27 मार्च को कैंडिल मार्च कचहरी में होगा। बैठक में सरदार परमजीत सिंह, आशीष मिश्रा, प्रभात शुक्ला, नीरज मिश्रा, कमलेश यादव, लवलेश, चंद्र प्रकाश वर्मा, पुरुषोत्तम पाल, राहुल यादव, पवन पाल, संदीप गुप्ता, मनीष चौधरी, शाहिद खान, आजम खान, अखिल यादव, सरिता, आंचल सरोज, सपना पाल, बेगम बानो, रोशन कुमार आदि मौजूद रहे।
दूसरी ओर विशिष्ट बीटीसी संघर्ष मोर्चा की बैठक शहीद उद्यान में हुई। अभिषेक मिश्रा ने कहा, शिक्षकों की नियुक्ति में चयन प्रक्रिया का आधार टीईटी की मेरिट न होकर शैक्षिक मेरिट होनी चाहिए। यह भी कहा कि चयन में एकेडमिक मेरिट को न शामिल किए जाने से बीएड बेरोजगारों में आक्रोश है। शैक्षिक मेरिट के आधार पर चयन करने के लिए उनका संगठन 28 मार्च को लखनऊ में मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपेगा। बैठक में हिमांशु सिंह, अजय पांडेय, श्रवण मिश्रा, आशीष पांडेय, शिव प्रताप सिंह आदि मौजूद रहे।


News : Amar Ujala (26.3.12)

UPTET Agra : TET Candidate Submitted Memorandum



टीईटी अभ्यर्थियों ने ज्ञापन सौंपा 
(UPTET Agra : TET Candidate Submitted Memorandum )

आगरा। अध्यापक पात्रता परीक्षा (टीईटी) के अभ्यर्थी मुख्यमंत्री तक अपनी बात पहुंचाने के लिए तरह-तरह के प्रयास कर रहे हैं। पोस्ट कार्ड भेजने और लखनऊ की दौड़ लगाने के बाद भी रविवार को अभ्यर्थियों ने रैली निकाली और मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन सिटी मजिस्ट्रेट को सौंपा।

ज्ञापन के माध्यम से अभ्यर्थियों ने सभी उत्तीर्ण छात्रों की प्राथमिक शिक्षक के रूप में भर्ती जल्द से जल्द किए जाने और 20 मार्च को जिन पुलिस अधिकारियों टीईटी अभ्यर्थियों पर लाठीचार्ज किया, उनको दंडित किये जाने की मांग की गई। शहीद स्मारक से रैली के रूप में अभ्यर्थी डीएम आवास पहुंचे। इनको बाहर ही रोक दिया गया। बाद में सिटी मजिस्ट्रेट ने आकर ज्ञापन लिया। ज्ञापन देने वालों में प्रवीण शास्त्री, देवेश कुमार द्विवेदी, विवेक समाधिया, विशन स्वरूप, राम सेवक शामिल थे।


News : Amar Ujala (26.3.12)

UPTET : Condemned Police Lathicharge on TET Unemployed Womens


टीईटी बेरोजगार महिलाओं पर लाठी चार्ज की निंदा



(UPTET : Condemned Police Lathicharge on TET Unemployed Womens )

बस्ती। टीईटी उत्तीर्ण बेरोजगार संघर्ष मोर्चा ने पिछले दिनों लखनऊ में टीईटी उत्तीर्ण महिला बेरोजगारों पर लाठी चार्ज की निंदा की है। कहा है कि अपनी जायज मांगों को पूरा कराने के लिए शांतिपूर्ण ढंग से प्रदर्शन कर रहे थे। प्रदर्शन का का उद्देश्य चुनाव से पहले सपा नेता और मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के वादों को याद दिलाना था। बावजूद इसके पुलिस ने बर्बरता पूर्वक लाठियां चटकाईं
टीईटी उत्तीर्ण बेरोजगार संघर्ष मोर्चा के जिलाध्यक्ष विवेक प्रताप सिंह ने ने रविवार को कटेश्वर पार्क में संघर्ष मोर्चा की बैठक में कहा कि प्रदेश सरकार से बेरोजगार और नौजवानों को काफी उम्मीदें हैं, पर सरकार के इशारे पर हुए लाठीचार्ज ने उनकी उम्मीदोें पर पानी फेर दिया है। प्रदेश सरकार को आड़े हाथों लेते हुए चेतावनी दी कि यदि टीईटी उत्तीर्ण बेरोजगारों को शिक्षक बनाए जाने की प्रक्रिया नहीं शुरू की गई तो सड़क पर उतरकर जोरदार प्रदर्शन किया जाएगा। बताया कि समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और राज्य सभा सदस्य बृजभूषण तिवारी और राज्यमंत्री रामकरन आर्य को टीईटी बेरोजगारों ने ज्ञापन सौंपकर अपनी मांग रखी है। ज्ञापन को संज्ञान में लेते हुए दोनों नेताओं ने सपा मुखिया से बात कर समस्या के समाधान का आश्वासन दिया है। बैठक में संतोष यादव, रत्नेश मिश्रा, विजय पांडेय, स्वामी नाथ, महावीर प्रसाद, नित्यानंद पांडेय, शेषमणि, नितिन शुक्ला, अवनीश त्रिपाठी, मुकुल, शिवेश चंद्र प्रजापति, अवधेश कुमार, कपिलदेव मौर्य, चौधरी रामकरन सिंह, दिनेश कुमार यादव, अखिलेश कुमार वर्मा, विनोद कुमार, विजय कुमार भारती, नीरज कुमार पाठक, राजेश कुमार मौर्य, शिव नरायन सिंह, अजीत कुमार पाल, हरीराम, इंद्रबहादुर, उमेश चंद्र, पतिराम वर्मा, आनंद कुमार, उदय शंकर, बृजेंद्र मिश्र, पुष्पेंद्र पाठक, चंद्रमौली मिश्र, बजरंग प्रसाद, राकेश कुमार, कौशलानंद, विजय प्रताप, आशुतोष कुमार, महेंद्र कुमार वर्मा आदि उपस्थित रहे।


News : Amar Ujala (26.3.12)

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टीईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थी करेंगे आन्दोलन



Sunday, March 25, 2012

Vishist BTC : Prathmik Shikshak Sangh Submitted Memorandum for Inter-District Transfer in UP to Minister



प्राथमिक शिक्षक संघ ने सौंपा मंत्री को ज्ञापन

( Vishist BTC : Prathmik Shikshak Sangh Submitted Memorandum for Inter-District Transfer in UP to Minister)

सम्भल : विशिष्ट बीटीसी प्राथमिक शिक्षक संघ ने राज्यमंत्री इकबाल महमूद को अंतर्जनपदीय स्थानांतरण के संबंध में ज्ञापन सौंपा व ऐच्छिक जनपद में जल्द स्थानांतरण की मांग की। इस दौरान आघा प्रसाद, अविनाश, सर्वेश यादव, धर्मेद्र, जोगेंद्र, मान सिंह, रज्जन, अरविंद, अशोक सिंह, प्रदीप अनूप, राजकुमार, दीपांजलि, आंचल त्यागी, अनुराधा, नूतन, करुन चौहान, रवि, पुष्पेंद्र आदि रहे।


News : Jagran (25.3.12)


UPTET Devaria : TET Candidates Warned for Movement


टीईटी अभ्यर्थियों ने दी आंदोलन की चेतावनी
(UPTET Devaria : TET Candidates Warned for Movement )


देवरिया:टीईटी संघर्ष मोर्चा की बैठक रविवार को टाउनहाल प्रांगण में आयोजित की गई। इसमें टीईटी अभ्यर्थियों ने चेतावनी दी कि यदि उनकी नियुक्ति शीघ्र नहीं हुई तो वे उग्र आंदोलन को बाध्य होंगे। जिसकी जिम्मेदारी शासन व प्रशासन की होगी

बैठक को संबोधित करते हुए गोरखनाथ सिंह ने कहा कि लखनऊ में शांति मार्च के दौरान पुलिस ने टीईटी अभ्यर्थियों पर लाठीचार्ज किया जो पूरी तरह से अलोकतांत्रिक था। अनुराग मल्ल ने कहा कि कोई भी आंदोलन संगठित होकर लड़ा जा सकता है। ऐसे में जिले के सभी टीईटी अभ्यर्थी मोर्चा का सदस्य बनकर आंदोलन का अंग बनें। मनोज कुमार मिश्र ने कहा कि मोर्चा का एक प्रतिनिधिमंडल शीघ्र ही मुख्यमंत्री से मिलेगा और यदि यह वार्ता विफल होती है तो पूरे प्रदेश में आंदोलन चलाया जाएगा

बैठक में रघुवंश शुक्ला ने कहा प्रतियोगी परीक्षा के माध्यम से उत्तीर्ण अभ्यर्थी हर तरह से नियुक्ति के पात्र हैं। ऐसे में नियुक्ति प्रक्रिया तत्काल शुरू की जाए। इस अवसर पर संजय यादव, विजय सिंह, सरस्वती राम त्रिपाठी, मदन यादव, मनोज सिंह, चन्द्रकेश शर्मा, हरेन्द्र पुरी, अमित मिश्र, विकास पाण्डेय, वेद प्रकाश सिंह, शचीन्द्र दूबे, बृजेश दूबे, श्री प्रकाश तिवारी, राजेश त्रिपाठी, अमरदेव सिंह, हेमंत प्रजापति, जीतेन्द्र दीक्षित, शैलेश मणि त्रिपाठी, दिलीप गुप्ता, रामअशीष वर्मा, अमरजीत कुशवाहा, मुकेश पाण्डेय, आत्म प्रकाश मिश्र तथा मुन्ना कुमार विश्वकर्मा आदि मौजूद थे।


News : Jagran (25.3.12)

UPTET : TET Sangharsh Morcha Spiltted in Two Parts - 1. Leading by Vivekanand , 2. Leading By Abhishek Mishr

दो फाड़ हुआ टीईटी संघर्ष मोर्चा
(UPTET : TET Sangharsh Morcha Spiltted in Two Parts - 1. Leading by Vivekanand , 2. Leading By Abhishek Mishr )

Vivekanand Leading TET Morcha Demands - Selection Through TET Merit ( A valid reason, can helpful for Jobs)


Abhishek Mishr  Leading TET Morcha Demands - Selection Through Acadmic Merit ( Making fool to Public, As it oppose NCTE Guidelines, Government Order ), This process mislead candidates and selection can not possible. This can create some hindrance only.


See News :

प्रतापगढ़। टीईटी पास अभ्यर्थियों की नियुक्ति की मांग को लेकर प्रयत्नशील संघर्ष मोर्चा ही दो फाड़ हो गया। विवेक सिंह की अगुवाई वाले संघ ने टीईटी परीक्षा की मेरिट के आधार पर 

तो अभिषेक मिश्र की अगुवाई वाले मोर्चे ने शैक्षिक मेरिट के आधार पर चयन की मांग की है। दूसरे मोर्चे की बैठक 25 मार्च को शहीद उद्यान में होगी।

प्राइमरी स्कूलों में खाली पड़े 72,825 पदों के लिए हुई टीईटी परीक्षा के लिए शासन भले ही कोई निर्णय न ले पा रहा हो, लेकिन कार्रवाई के लिए संघर्षरत अभ्यर्थियों में खींचतान शुरू हो गई है। बता दें कि टीईटी पास करने वाले अभ्यर्थियों ने विवेक सिंह की अगुवाई में संघर्ष मोर्चा का गठन किया और अपनी मांगों के लिए आवाज बुलंद की। संगठन की मांग थी कि परीक्षा में उत्तीर्ण अभ्यर्थियों का चयन मेरिट के आधार पर किया जाय। 20 मार्च को लखनऊ में टीईटी अभ्यर्थियों पर लाठी बरसने के बाद अभिषेक मिश्र के नेतृत्व में दूसरे मोर्चे का गठन हो गया। बकौल अभिषेक मिश्र टीईटी परीक्षा में पास होने वाले अभ्यर्थियों के चयन का आधार शैक्षिक मेरिट होनी चाहिए। शहीद उद्यान में 25  मार्च  को बैठक करके 28  मार्च  को लखनऊ स्थित विधानसभा के होने वाले घेराव की रणनीति बनाई जाएगी। उन्होंने अभ्यर्थियों से अधिकाधिक संख्या में पहुंचने का आह्वान किया है।


News : Amar Ujala (25.3.12)

UPTET : What's WRONG in Teacher Eligibility Test- TET


अध्यापक पात्रता परीक्षा में गलत क्या है?
(What's WRONG in Teacher Eligibility Test- TET )

Very Good Article - Must Read
-मनोज कुमार सिंह ‘मयंक’ ||
Article by Mr. Manoj Kumar Singh Singh "Mayank" (on Mediadarbar.com )

हमारे देश को आजाद हुए ६४ वर्ष से अधिक हो गए हैं,हमारे स्वतंत्रता सेनानियों ने पराधीन भारत में स्वतंत्र भारत का जो स्वप्न देखा था,हम उसके आस पास भी नहीं हैं|अपने अधिकारों और कर्तव्यों की कौन कहे,इन ६४ सालों में हम आज तक समग्र साक्षरता के मह्त्वाकांक्षी लक्ष्य को भी हासिल नहीं कर पाए हैं|हालांकि,इतने सालों में हमने अच्छी उपलब्धि हासिल की है और आज साक्षरता के क्षेत्र में हम ब्रिटिश राज के १२ प्रतिशत के आकडें को पार करते हुए २०११ के आंकड़ों के अनुसार ७५.०४ प्रतिशत तक पहुँच गए हैं किन्तु तुलनात्मक दृष्टि से हम आज भी विश्व साक्षरता के औसत (८४ प्रतिशत) से भी लगभग १० अंक निचले पायदान पर स्थित हैं|बात यही पर खत्म नहीं होती है,यदि हम नेपाल,बंगलादेश और पाकिस्तान जैसे संसाधनविहीन देशों को छोड़ दे तो हमारे अन्य पडोसी मसलन चीन,म्यामार,यहाँ तक की श्रीलंका जैसे छोटे देश भी साक्षरता के क्षेत्र में ९० प्रतिशत से ऊपर पहुँच चुके है|ध्यातव्य है की साक्षरता के ये आंकड़े ७ वर्ष से ऊपर आयु वर्ग की जनसँख्या का प्रतिनिधित्व करते हैं|

वास्तव में,इसके मूल में अंग्रेजों द्वारा स्थापित वह दोषपूर्ण शिक्षा प्रणाली है,जिससे हम आज तक नहीं उबर पाए हैं|अंग्रेजों ने शिक्षा के क्षेत्र में अधोमुख निस्यन्दन की वह प्रक्रिया विकसित की जिसके तहत मिशनरी स्कूलों से शिक्षा प्राप्त व्यक्ति हमारी समग्र शिक्षा व्यवस्था का नियामक बन बैठा|शिक्षा में भारतीयता और राष्ट्रवाद के तत्वों को एक निहित उद्देश्य के चलते धीरे धीरे सीमित किया गया और आज वह पूरी तरह से विलुप्त हो गया है|हमारे शिक्षालयों में संसाधनों का भारी अभाव है और योग्य शिक्षकों की कमी है|हम योजना दर योजना मूल्य आधारित,गुणवत्तापरक और सामूहिक शिक्षा की बात करते तो हैं किन्तु जब इन्हें अमली जामा पहनाने का वक्त आता है तो हम बजट की कमी का रोना रोने लगते हैं|राज्य, केन्द्र पर दोषारोपण करता है और केन्द्र सरकार राज्यों को दोषी ठहराने लगती है|यह बात सर्वविदित है की जब तक विद्यालयों में योग्य शिक्षक नहीं होंगे,सर्व शिक्षा अभियान के मह्त्वाकांक्षी उद्देश्यों को प्राप्त नहीं किया जा सकता और यह बात तब और भी महत्वपूर्ण हो जाती है जब हम यह मान कर चलते हैं की ६ से १४ वर्ष तक के बच्चों को निशुल्क और अनिवार्य शिक्षा दी जानी चाहिए क्योंकि उन्नीकृष्णन बनाम आंध्र प्रदेश के मामले में माननीय सर्वोच्च न्यायालय ने १९९३ में यह स्पष्ट किया था की १४ साल तक के समस्त बच्चों के लिए शिक्षा प्राप्त करना एक मौलिक अधिकार है यद्यपि यह राज्य पर निर्भर करता है की वह इस बाध्यकारी व्यवस्था को कैसे लागू करती है?
यह १८३५ में लार्ड मैकाले द्वारा स्थापित मात्र अंग्रेजी शिक्षण की वह व्यवस्था नहीं है जिसका एकमात्र उद्देश्य लिपिकों की एक फ़ौज खड़ी करना हो और जिसके द्वारा भारत सरकार अपने प्रशासनिक उद्देश्यों को पूर्ण करने के लिए मानव संसाधन विकसित करने के स्थान पर न्यूनतम साक्षरता हासिल करने के उद्देश्य तक ही सीमित रहे बल्कि अनिवार्य शिक्षा क़ानून का आशय ६ से १४ वर्ष की आयु वर्ग तक के बच्चों में उनके विकास क्रम के अनुसार उनके बौद्धिक,शारीरिक,मानसिक,नैतिक और वैज्ञानिक जिज्ञासाओं का सम्यक समाधान कर उनके अंदर एक वैज्ञानिक अंतर्दृष्टि विकसित करना है और जब शिक्षा के क्षेत्र में इन दूरगामी उद्देश्यों की पूर्ति करना है तो योग्य शिक्षकों का होना अपरिहार्य है लिहाजा योग्य शिक्षकों के चयन का मानक मात्र प्रशिक्षण का प्रमाणपत्र पाना ही नहीं होना चाहिए|इन्हीं सब उद्देश्यों को केन्द्र में रखते हुए केन्द्र सरकार ने १७ अगस्त १९९५ को राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद का गठन किया|इससे पहले राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद, राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसन्धान और प्रशिक्षण परिषद के अंतर्गत अधीनस्थ के रूप में कार्य कर रही थी और १९७३ से लेकर १९९५ तक इसका कार्य मात्र राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद को विविध मसलों पर सलाह देने तक ही सीमित था|१९८६ के राष्ट्रीय शिक्षा नीति में इस बात का स्पष्ट रूप से अनुभव किया गया की विभिन्न बोर्डों में न सिर्फ योग्य अध्यापकों की भारी कमी है वरन उनके पाठ्यक्रमों में भी पर्याप्त भिन्नता है|देश के अनेक राज्यों में प्राथमिक शिक्षा का अधिकाँश भार इंटर उत्तीर्ण अथवा कहीं कहीं हाई स्कूल उत्तीर्ण ऐसे अप्रक्षित अध्यापक वहन कर रहे हैं, जिन्हें न तो बाल मनोविज्ञान की सम्यक जानकारी है और न ही वे शिक्षा के क्षेत्र में होने वाले नवाचारों से परिचित हैं|
वर्तमान में भारत शिक्षा पर अपने सकल घरेलू उत्पाद का मात्र ४.१ फीसदी व्यय कर रहा है जो आगे बढ़ कर लगभग ६ फीसदी होने का अनुमान है|इसका यह साफ़ अर्थ है, हमें बड़ी मात्रा में शिक्षक चाहिए और ऐसे शिक्षक चाहिए जो वैश्विक मानदंडों पर खरे उतरते हो|हम जानते हैं की शिक्षा के क्षेत्र में निर्मित पिछली समस्त योजनाएं नाकारा साबित हो चुकी हैं और यह स्थिति तब है जब केन्द्र और राज्य सरकारों के साथ साथ हमारे देश को शिक्षित करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अनेक संस्थाएं सक्रिय हैं और वे हमारे देश को अकेले शिक्षा के मद में प्रतिवर्ष करोड़ो,अरबों रुपये अनुदान अथवा ऋण के रूप में उपलब्ध करवाती हैं|२००८-०९ के आंकड़े बताते हैं की प्राथमिक शिक्षा के शेत्र में समस्त भारत में प्रति ३२ विद्यार्थी पर १ शिक्षक उपलब्ध है, देश के १४६ जिले ऐसे हैं जहाँ ४० विद्यार्थियों पर १ शिक्षक उपलब्ध है और यदि इन आकडों में दूर दराज के ग्रामीण अंचलों को भी शामिल कर लिया जाए तो अनेक ऐसे विद्यालय हैं जहाँ १०० विद्यार्थियों पर मात्र एक शिक्षक की उपलब्धता है और वह भी अप्रशिक्षित होने के साथ ही प्राथमिक शिक्षा के लिए नितांत अयोग्य है|उत्तर प्रदेश के समस्त प्राथमिक विद्यालयों के १२.०८ प्रतिशत और बिहार के ११.९० प्रतिशत विद्यालयों में शिक्षक छात्र अनुपात १०० से भी ऊपर है|आंध्र प्रदेश,अरुणांचल,दिल्ली,हिमाचल,कर्नाटक,केरल,महाराष्ट्र जैसे १४ राज्य ऐसे हैं जहाँ १०० से ऊपर अनुपात वाले विद्यालय .५ प्रतिशत से भी कम हैं और उच्च साक्षरता दर के रूप में इनका परिणाम हमारे सामने है|उत्तर प्रदेश और बिहार में प्राथमिक शिक्षा बस राम भरोसे ही चल रही है क्योंकि इन दो राज्यों में प्राथमिक शिक्षा का सम्पूर्ण राजनीतिकरण हो चूका है|राज्य के परिषदीय विद्यालयों में ग्राम प्रधानों और सभासदों का हस्तक्षेप बढ़ता जा रहा है क्योंकि इंटर अथवा स्नातक शिक्षा मित्र ग्राम प्रधानों तथा सभासदों द्वारा अनुचित तरीके से चुने जाते हैं और इनके संपर्क बेसिक शिक्षा अधिकारी तक से होने के कारण मिड डे मील योजना में भारी उलट फेर करते हुए पाए जाते हैं|
आज स्थिति यह है की पूरे देश में केवल नाम मात्र की शिक्षा दी जा रही है|वास्तविकता यह है की भारत में शिक्षा को मटियामेट करने का कार्य तब से प्रारम्भ हुआ जब से प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालयों में संविदा के आधार पर उन लोगों को शिक्षक बना कर नियुक्त किया जाने लगा जो खुद भी इंटर पास नहीं कर सके थे| उदहारण के लिए पश्चिम बंगाल और असं जैसे राज्यों में कोई भी कक्षा १० उत्तीर्ण व्यक्ति बिना किसी प्रशिक्षण के प्राथमिक विद्यालयों में अध्यापन का कार्य कर सकता है|फलस्वरूप,आकडें बताते हैं की आज भी हमारे देश के विद्यालयों में लगभग ६ लाख शिक्षक ऐसे हैं जिनमें न्यूनतम शैक्षिक अभिरुचि ही नहीं है|जो या तो अयोग्य है अथवा अप्रशिक्षित हैं|
इन्ही सब समस्यायों को ध्यान में रखते हुए राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद ने राष्ट्रीय अध्यापक पात्रता परीक्षा का विचार किया और २०११ में प्रथम अध्यापक पात्रता परीक्षा आयोजित की|इस परीक्षा को अध्यापक चयन हेतु बाध्यकारी बनाते हुए यह प्रावधान किया गया की उक्त परीक्षा में न्यूनतम ६० प्रतिशत अंक अर्जित करना अनिवार्य होगा और केन्द्र सरकार द्वारा मान्यताप्राप्त निजी संस्थानों में भी शिक्षक चयन हेतु इसे आधार बनाया जाना चाहिए|जुलाई २०११ में आयोजित प्रथम पात्रता परीक्षा में लगभग ७ लाख १० हजार अभ्यर्थी सम्मिलित हुए जिनमे से महज ९७,९१९ अभ्यर्थी ही इस परीक्षा में सफल हो सके शेष ८६ प्रतिशत अभ्यर्थी असफल हुए और उन्होंने सम्पूर्ण परीक्षा प्रक्रिया का ही आलोचना करना प्रारम्भ कर दिया|चूँकि रिक्तियों के सापेक्ष सफल होने वाले अभ्यर्थियों की तादाद कम थी अतः यह प्रावधान भी किया गया की राज्य सरकार चाहे तो वह अलग से प्रदेश स्तर पर अध्यापक पात्रता परीक्षा आयोजित कर सकती है किन्तु आगे से अध्यापको के चयन का आधार केवल पात्रता परीक्षा ही होगी|प्रारम्भ में कोई भी राज्य राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद की इस अवधारणा से सहमत नहीं हुआ और उत्तर प्रदेश में तो इससे मुक्ति पाने के लिए अनेक बार परिषद के मसौदे को ठुकराने की चेष्टा की गयी किन्तु देश हित में परिषद के अड़ियल रवैये के चलते सरकार ने घुटने टेके और आनन फानन में उत्तर प्रदेश अध्यापक पात्रता परीक्षा आयोजित की गयी|प्रश्न पत्र का स्वरुप सरलतम रखा गया ताकि अधिक से अधिक लोग इस परीक्षा को पास कर सके और प्रदेश में अनुमानित १ लाख ९० हजार रिक्तियों को आसानी से भरा जा सके| प्रश्न पत्र में लगभग ९० फीसदी प्रश्न शिक्षा मित्रों को प्रशिक्षण हेतु दिए गए अभ्यास पुस्तिकाओं से ही पूछे गए ताकि शिक्षा मित्र भी इसे आसानी से पास कर सके|इसके बावजूद लगभग ५७ प्रतिशत छात्र अनुतीर्ण हुए और इससे मुक्ति हेतु अदालत का दरवाजा खटखटाने लगे|माननीय उच्च न्यायालय ने भी योग्यता के मूल्यांकन की इस प्रणाली में आस्था व्यक्त की और अध्यापक पात्रता परीक्षा के विरुद्ध लंबित तमाम याचिकाओं को प्रथम दृष्टया ही निरस्त कर दिया|अब न्यायालय में पात्रता परीक्षा के विरुद्ध कोई भी दमदार याचिका नहीं है लेकिन पात्रता परीक्षा को लेकर एक नया विवाद खड़ा हो गया है|
इस विवाद के केन्द्र में पात्रता परीक्षा के आधार पर ७२,८२५ रिक्तियों के भरे जाने हेतु बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा प्रकाशित विज्ञप्ति है|यादव कपिल देव लालबहादुर और राज्य तथा अन्य द्वारा उच्च न्यायालय में दायर याचिका ने पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को आंदोलित कर दिया है|इस याचिका में पात्रता परीक्षा को नहीं बल्कि बेसिक शिक्षा विभाग को कटघरे में खड़ा किया गया है|मामला यह है की बेसिक शिक्षा अधिनियम १९७३ के अनुसार प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालयों में चयन हेतु नियुक्ति प्राधिकारी बेसिक शिक्षा अधिकारी होगा और इस बार के विज्ञापन में इस परम्परा को तोडा गया है|स्पष्ट है की याचिका तकनिकी रूप से समस्त प्रक्रिया को उलझाने के निमित्त लायी गयी है और इस याचिका के पीछे संविधान की आंशिक शक्ति भी नहीं है बल्कि इस एक याचिका के कारण पूरे प्रदेश में शिक्षा के अधिकार अधिनियम का खुल्लम खुल्ला मखौल उडाया जा रहा है और देश का एक अदना सा नागरिक भी इस बात को स्पष्ट रूप से समझता है की न्यायालय मूल अधिकारों का सबसे बड़ा संरक्षक है|अतः,मेरा आंकलन है की माननीय उच्च न्यायालय को इस याचिका को निरस्त कर देना चाहिए और उत्तीर्ण अभ्यर्थियों के पीछे विधि की शक्ति विद्यमान होने के कारण ऐसा होगा भी|फिर भी इस याचिका ने राज्य में नियुक्तियों के भविष्य को प्रभावित किया है और नियुक्तियों में जितना ही देर होता जा रहा है उत्तीर्ण अभ्यर्थियों के मन में उतना ही आक्रोश भरता जा रहा है|अकादमिक में बेहतरीन प्रदर्शन करने वाले किन्तु पात्रता परीक्षा में फिसड्डी अभ्यर्थी टीईटी प्राप्तांकों को चयन का आधार बनाये जाने के विरुद्ध हैं किन्तु विविध बोर्डों के मध्य असमानता वाली कसौटी पर खरे न उतरने के कारण राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद भी उनके मांगों और प्रस्तावों को गंभीरता से नहीं ले रहा है|बेसिक शिक्षा विभाग के अधिकाँश अधिकारी और लगभग ९० फीसदी ब्यूरोक्रेसी टीईटी प्राप्तांकों को चयन का आधार बनाये जाने को न्यायोचित मानती है और शिक्षा के अन्तराष्ट्रीय मानकों पर खरा उतरने के लिए यह जरूरी भी है|

UPTET : TET Qualified Demands Recruitment Process Should Start



'टीईटी' उत्तीर्ण अभ्यर्थियों ने दिया धरना
(UPTET : TET Qualified Demands Recruitment  Process Should Start)

अहरौला (आजमगढ़): विभिन्न मागों को लेकर 'टीईटी' उत्तीर्ण अभ्यर्थियों ने रविवार को एबीआरसी केंद्र अहरौला में एक दिवसीय धरना दिया।
अध्यक्षता कर रहे संघर्ष समिति के अध्यक्ष वीरेंद्र कुमार सिंह ने कहा कि वर्ष 2011 में 7200 शिक्षकों की भर्ती के लिए आवेदन पत्र आमंत्रित किया गया पर विभिन्न कारणों का हवाला देते हुए अभी तक भर्ती प्रक्रिया शुरू नहीं की गयी। यही नहीं इसे शुरू करने की मांग करने वाले शिक्षकों पर लखनऊ में लाठी चार्ज किया गया,जो निंदनीय है। इस मौके पर डॉ. जेपी उपाध्याय, कृष्णकुमार सिंह, रामसागर यादव, रसल रघुवंशी, दीपक गिरी, अजय सोनी, पंकज यादव, लालजीत चौहान आदि उपस्थित थे।


See Another Story, where some B. Ed Unemployed wants cancellation of TET. But if they found corruption then they should file case along with their OMR copy. But if they are UNABLE to qualify exam then it is NOT good to demand cancellation.


बीएड बेरोजगारों की पल्हना में बैठक


पल्हना(आजमगढ़): प्राथमिक विद्यालय ताहिरपुर में रविवार को बीएड बेरोजगारों की बैठक हुई। अध्यक्षता कर रहे उमेश मौर्या ने कहा कि पिछली सरकार में टीईटी परीक्षा में चपरासी से लेकर अधिकारी तक भ्रष्टाचार में लिप्त पाये गये। इसलिए नई सरकार से अपेक्षा है कि टीईटी परीक्षा को रद्द करके सीधी भर्ती प्रक्रिया अपनाये और मेरिट के आधार पर भर्ती शुरू हो। इस अवसर पर राजदेव, प्रमोद सरोज, अरुण सिंह, अजय, बबलू राम, अशोक मौर्य, राजकुमार यादव, सुनील राम, मीनू सिंह, नरेंद्र मौर्य, संजीत आदि उपस्थित थे

News : Jagran ( 25.3.12)

UPTET : TET Sangarsh Morcha (Nitin Mehta and Vivekanand )


UPTET : TET Sangarsh Morcha (Nitin Mehta and Vivekanand ) 

Mr. Nitin Mehta gives some content regarding to caveat application / impleadment application filed in court,
and wants to say something regarding UPTET Sangarsh Morcha.

However , our BLOG never supported a person but support a thought that - TET passed candidates (who passed exam honestly and spend hard earned money) will get justice.
Each and every candidate is equal and from the day one - Blog suggests, Make a consent paper, What is the objective of movement, Agenda ( What to do) and when people agree then take their signaturem And distribute such copy to candidates.
So that candidates having trust on you and they will not become a prey of ill-thoughts. Is somebody become a top leader and after that he/she acts / helps particular party's objectives. And entire movement may NOT become direction less.

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प्रेषक: nitin mehta <nnitinmehta1982@rediffmail.com>दिनांक: 25 मार्च 2012 6:19 pmविषय: Fw: Caveat fileप्रति: "muskan24by7@gmail.com" <muskan24by7@gmail.com>



First of all i would like to give my intro. to you that My Name is Nitin Mehta from Ghaziabad(uptet roll no.01020751, M.No. 9639885609) one of them who organised that dharna pardshan(on that day means 20 march might be you seen me on Zee news up)

YOU ARE APPRECIATING WRONG PERSON(Vivekanand) ON YOUR BLOG WHO WANT TO ENCASH THIS UPTET MATTER FOR HIS POLITICAL PURPOSE NOT FOR JOB and i would like to tell you that we are the person who want only JOB not to become political party WHERE on LATHIECHARGE day our group had taken permission from Jhulelal park to Vidhan sabha and all the candidates from all direction had to reach JHULELAL park where before on that date we were at allahabad for court matter for uptet(case no.76039)  & due to heavy traffic couldn't reach at Charbagh station where that person with his group reached before us and moved entire mob direct to Vidhan sabha due to that only that problem has to face,

That person didn't support in court matter while filing CAVEAT(with the name of two person only S.K.PATHAK & NITIN MEHTA) even while becoming third party on the request of Mr. Rajesh row we had given chance to him after receiving so many request from him & rajesh row so he found last number at 12th position in impledment application, At that time we were in doubt but didn't know that, that person would try to cheat with 72825 families,

It's  not matter to become president without doing effort even that person is dyeing for that AND WE ARE ONLY FOR JOB,

We have no argument with any person but cannot allow any person who is trying to make all t.e.t student fool for his personal political reason,
 

We need only JOB so no politics( i had went with my group on 11/03 to lucknow than allahabad, again lucknow than allahabad and could come back on y'day evening even some of my group members are doing anshan from today to two days at MEERUT & we s.k.pathak/Nitin mehta are also fighting in court  with other group members)

Hope you will be able to justify entire thing with attached Copy of Empledment no.65558/2012 to become third party & CAVEAT copy,
IF ANY ONE IS GOING TO SUPPORT MERIT BASE SELECTION ME & MY ENTIRE GROUP IS WITH HIM …………….BUT NO POLITICS PLEASE BECAUSE MY FAMILY DEPEND UPON ME ONLY AS I HAVE LOST MY FATHER,

Nitin Mehta
(only T.e.t student who is leading without wishing any post but want job to all including me)

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Dear Ms.Muskan,

Also i would like to inform you that i am that person who given GYAPAN to A.C.M. 3 after reading that in front of entire mob that you can check with any one who went to Jhulelal park at lucknow on 20 march and at second position to meet with C.M. after S.K.pathak,

Me & my group have no personal relation or breakage with any one but cann't leave this job which can be disturbed by some person who are doing politics,

Hope you'll pray to GOD for our selection,
Thanks,
Nitin Mehta

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Mr Nitin Mehta provided caveat application and TET candidate's list supporting his thoughts.

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UPTET : Historical Movement for TET Passed Candidates is Ready to Start

अब होगा ऐतिहासिक आंदोलन
(UPTET : Historical Movement for TET Passed Candidates is Ready to Start )


अंबेडकरनगर, टीईटी उत्तीर्ण संघर्ष मोर्चा के बैनर तले सैकड़ों युवाओं ने कलेक्ट्रेट परिसर स्थित अंबेडकर प्रतिमा के समक्ष बैठककर 20 मार्च को लखनऊ में प्रदर्शन के दौरान हजारों छात्रों पर लाठी चार्ज व आंसू गैस के गोले छोड़ने की कड़ी निंदा की। अध्यक्षता मोर्चा अध्यक्ष अनिल कुमार वर्मा व संचालन दिनेश कुमार मौर्य ने की।
मोर्चा अध्यक्ष वर्मा ने कहा कि टीईटी मेरिट के आधार पर नियुक्ति सुनिश्चित नहीं की गई तो बेरोजगार युवा राजधानी लखनऊ में ऐतिहासिक आंदोलन करेंगे। उन्होंने अहिंसात्मक आंदोलन को दमन किए जाने पर आंदोलन को उग्र करने की चेतावनी दी। सुरेंद्र यादव ने कहा कि पिछले सरकार की गलत नीतियों के कारण युवा बेरोजगारी के कगार पर पहुंच गए। डॉ. नितिन पांडेय ने कहा कि राष्ट्र निर्माण की सबसे महत्वपूर्ण कड़ी शिक्षक होते हैं, ऐसे में तत्काल प्रभाव से प्राथमिक विद्यालयों में टीईटी मेरिट के आधार पर नियुक्ति कर देनी चाहिए। डॉ. शिवबहादुर वर्मा ने कहा कि जब आइएएस से लेकर बैंक तक की भर्तियों में प्रतियोगी परीक्षा होती है तो टीईटी प्रतियोगी परीक्षा को नजरंदाज क्यों किया जा रहा है।

UPTET : छात्रों के भविष्य को लेकर अपनी चिन्ता व्यक्त की - BJP

UPTET : छात्रों के भविष्य को लेकर अपनी चिन्ता व्यक्त की - BJP


भारतीय जनता पार्टीे नेे प्रदेश के युवाओं और छात्रों के भविष्य को लेकर अपनी चिन्ता व्यक्त की है। प्रदेश प्रवक्ता डा0 मनोज मिश्र ने आज भाजपा मुख्यालय पर पत्रकारों से वार्ता करते हुए बताया कि प्रदेश के 13 लाख टीईटी अभ्यर्थियों का भविष्य नई सरकार के रूख को लेकर अनिश्चय में फंसा हुआ है। पिछली बसपा सरकार में हुई बेइमानी के शिकार इन बेरोजगारों को इस सरकार के रूख से न्याय मिलता नहीं दिख रहा है।
डा0 मनोज मिश्र ने सरकार से सवाल किया कि टीईटी परीक्षा में हुई अनियमितताओं का टीईटी अभ्यर्थियों से क्या लेना देना ? सरकारी तंत्र की बेमानी की सजा शिक्षित बेरोजगारों को क्यों दी जा रही है ? शिक्षा जगत की अफरा-तफरी बसपा सरकार में अपने चरम पर पहुंच गई थी।प्रदेश प्रवक्ता ने मांग की कि इन टीईटी अभ्यर्थियों के संबंध में इनके हित में स्पष्ट एवं पारदर्शी नीति अति आवश्यक है ताकि इनका भविष्य सुरक्षित किया जा सके। इनके साथ ही प्रदेश के तमाम शिक्षा मि़त्रों, डिग्री कालेजों में मानदेय शिक्षकों सहित सभी तरह के शिक्षकों को शिक्षा के हित में विनियमित किया जाना अति आवश्यक है। प्रदेश में शैक्षणिक वातावरण शिक्षकों के भविष्य को सुरक्षित किए बिना सुचारू रूप से चल पाना संभव नहीं हो सकता।
डा0 मिश्र ने कहा कि छात्रों और युवाओं के दम पर सरकार बनाने का दावा करने वाली समाजवादी पार्टी को इनके हितों की रक्षा करने के लिए समूचे शिक्षा तंत्र पर सर्वाधिक प्राथमिकता की जरूरत है। उन्होंने कहा कि उच्च माध्यमिक और तकनीकी शिक्षा विभाग प्रदेश के मुख्यमंत्री के पास होेने के बावजूद इनकी उपेक्षा सर्वाधिक आश्चर्यजनक है।

UPTET : TET Candidates Condemned Police Harassament

पुलिसिया उत्पीड़न के खिलाफ तानी मुट्ठी
(UPTET : TET Candidates Condemned Police Harassament )

मंझनपुर। मंझनपुर स्थित डायट मैदान में शनिवार को उत्तर प्रदेश टीईटी उतीर्ण संघर्ष मोर्चा की बैठक हुई। इसमें मांगों को लेकर राजधानी में धरना दे रही टीईटी अभ्यर्थियों पर पुलिस द्वारा लाठी चार्ज किए जाने की निंदा की गई। इस दौरान शिक्षक भर्ती प्रक्रिया प्रारंभ करने, धांधली की गंभीरता से जांच, दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करने आदि की मांग अभ्यर्थियों ने की। जिलाध्यक्ष ने मांगे पूरी करने के लिए सरकार को दो दिन का समय दिया है। उन्होंने मामले की अनदेखी पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है। डायट मैदान में हुई बैठक में जिलाध्यक्ष रामपूजन तिवारी ने लखनऊ में टीईटी अभ्यर्थियों द्वारा मांगाें को लेकर धरने के दौरान पुलिस द्वारा लाठी चार्ज की निंदा की। उन्होंने कहा कि युवाओं के मत से प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव युवाओं की आवाज दबाने का काम कर रहे हैं। हक मांगने पर युवाओं को लाठियों से पिटवाया जा रहा है। अभ्यर्थियों ने भर्ती की स्थिति शीघ्र स्पष्ट करने, शैक्षिक योग्यता को चयन का आधार नहीं बनाने और कुछ लोगों की गलतियों की सजा सभी अभ्यर्थियों को नहीं दिए जाने आदि मांगों को लेकर हुंकार भरी। इस मौके पर श्यामबाबू मिश्र, विनोद साहू, प्रमोद साहू, हरजीवनलाल, धीरेन्द्र मिश्र, शिवबाबू, हेमंत पांडेय, मंजीत सिंह, राजकुमार, अजय चौरसिया, पप्पू यादव, सनील यादव, शिवकुमार, सुखलाल यादव, उमेश पटेल, मोहम्मद खालिद, सुभाष, रमेश कुमार, राकेश कुमार सरोज, अरविंद, शीला नरेन्द्र द्विवेदी, अरूण कुमार सिंह, राघवेन्द्र प्रताप सिंह, राजू कुशवाहा गुलनाज बानो आदि मौजूद रहीं।


News : Amar Ujala (25.3.12)

UPTET : TET Candidates future in Dark - BJP

टीईटी अभ्यर्थियों का भविष्य अधर में : भाजपा
(UPTET : TET Candidates future in Dark - BJP )

लखनऊ ! भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने शनिवार को प्रदेश सरकार पर राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा के अभ्यर्थियों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करने का आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार के अनिर्णय की स्थिति की वजह से छात्रों का भविष्य अधर में लटका हुआ है।

पार्टी कार्यालय में शनिवार को संवाददाताओं से बातचीत में भाजपा के प्रदेश इकाई के प्रवक्ता मनोज मिश्र ने कहा, नई सरकार के वर्तमान रुख की वजह से करीब 13 लाख टीईटी अभ्यर्थियों का भविष्य अधर में लटका हुआ है।

मनोज मिश्र ने कहा कि पिछली बसपा सरकार की बेमानी के शिकार हुए इन अभ्यर्थियों को वर्तमान सरकार के रुख से न्याय मिलता नहीं दिखायी दे रहा है।

उन्होंने कहा कि टीईटी अभ्यर्थियों के संदर्भ में एक पारदर्शी नीति बनाया जाना आवश्यक है ताकि छात्रों का भविष्य सुरक्षित हो सके।

News : Deshbandhu.co.in (25.3.12)

UPTET : TET Candidate's Heartbeat fast for Next Hearing in Highcourt

टीईटी पास अभ्यर्थियों की बढ़ी धड़कन
(UPTET : TET Candidate's Heartbeat fast for Next Hearing in Highcourt)

बरेली: टीईटी पास अभ्यर्थियों की धड़कन तेज हो गई है। हाइकोर्ट में 26 मार्च को बहस होगी जिसमें बेसिक शिक्षा विभाग और सरकार के पक्ष रखने पर भविष्य का फैसला होगा।
भर्ती प्रक्रिया शुरू करने का दबाव बनाने को टीईटी पास अभ्यर्थियों ने शनिवार को गांधी उद्यान में बैठक की। लखनऊ प्रदर्शन में लाठीचार्ज की निंदा के बाद अभ्यर्थियों ने दोबारा घेराबंदी का ऐलान किया। टीईटी संगठन के अध्यक्ष अरुण अवस्थी ने कहा कि हाइकोर्ट में सरकार और बेसिक शिक्षा विभाग का पक्ष नीयत को दिखाने के लिए काफी होगा। भर्ती प्रक्रिया शुरू करने के लिए जल्द शासनादेश जारी नहीं हुआ तो युवाओं के सब्र का बांध टूट जाएगा। उपाध्यक्ष केशव सिंह भदौरिया ने कहा कि मुख्यमंत्री ने युवाओं की तरक्की का वादा किया है इसलिए सिर्फ 800 फर्जी अभ्यर्थियों को सजा दें। बैठक में कपिल शर्मा, राहुल श्रीवास्तव, अंकित कुमार, अमित कुमार त्रिपाठी, गौरव चौहान, हृदेश यादव, कपिल गंगवार, हिमांशु कुमार आदि मौजूद रहे।

News : Jagran (24.3.12)
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However as per Allahabad Highcourt hearing date is 29th March 2012 :

UPTET : Allahabad Highcourt - Stay on Primary Teacher Seletion through TET Exam, Next hearing on 29th March 2012
See Status :-

UPTET : Rumours / Misleading Stories making TET candidate's future in dark

भ्रामक ख़बरों ने परिश्रमी टीईटी अभ्यर्थियो के भविष्य को दांव पर लगा दिया
(UPTET : Rumours / Misleading Stories making TET candidate's future in dark)

कुछ स्वार्थी तत्व अपनी रोटियां सेकने के लिए - टीईटी को निरस्त करने में जुटे हुए हैं , उन्हें इससे कोई मतलब नहीं की - ईमानदार टीईटी अभ्यर्थी जिनकी संख्या लाखों में है , उनको न्याय मिले |
अभी तक किसी का आरोप भी साबित नहीं हुआ , कितने अभ्यर्थी धांधली में लिप्त पाए गए उसकी कोई जानकारी नहीं |
कुछ लोग कहते हैं की टीईटी सिर्फ पात्रता परीक्षा है तो क्यों नहीं वे केवीएस भर्ती , एसएसए चंडीगढ़ के विज्ञापन को निरस्त करने की मांग करते हैं ,
वे क्यूँ नहीं कहते हैं - एन सी टी ई अपने गाइड लाइन / नोटीफिकेसन को निरस्त करे , जहाँ साफ़ शब्दों में लिखा हुआ है - की टीईटी मार्क्स को भर्ती / मेरिट में उपयोग किया जाये

आये दिन किसी न किसी न्यूज़ पेपर में खबर छपती की भर्ती के नियमो को बदल दिया जायेगा , टीईटी निरस्त कर दी जायेगी , टीईटी सिर्फ पात्रता का अधिकार है न की चयन का

कुछ गलत लोग , गुमराह करने वाले तत्व इसका फायदा उठाने की कोशिश करने मैं लगे हैं

कुछ लोगों ने कोर्ट में अकारण , गैर जरूरी मुद्दों पर अड़ंगे बाजी लगा रखी है , भर्ती किसी विज्ञापन जैसे कारण पर रूकी है , न की धांधली पर |

पता नहीं ऐसे मुद्दे कितने महत्वपूर्ण है अगर यह लाखों करोड़ों लोगों से जुड़ा मामला है

बेचारे परिश्रमी टीईटी अभ्यर्थियो की मानसिक वेदना इनको दिखाई नहीं देती जिन्होंने सारे नियम कानूनों के साथ भर्ती की सभी शर्तों को पूरा किया ,

उनका दर्द दिखाई नहीं देता - कैसे लाइनों में लग कर फार्म भरा , कई जिलों में ५०० रूपए की फीस के साथ आवेदन किया |

बेरोजगारी में ये एक बहुत बड़ा दर्द है |
समाज में भ्रम की स्थिति पैदा करना और परिश्रमी अभ्यर्थियो के भविष्य के साथ खिलवाड़ करना बहुत गलत है

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Media should heard all type of peoples, And it is NOT wrong to publish all kind of NEWS. But some
selfish / misleading persons use it for thier own profit.
Many UPTET candidate's are already stressed and gets hurt, when they see such kind of NEWS.

CTET : 3000 B. Ed Degree Holder, who qualified CTET gets Job in CBSE Grade-I Schools in UP

3000 को मई में मिल जाएगी नौकरी(CTET : 3000 B. Ed Degree Holder, who qualified CTET gets Job in CBSE Grade-I Schools in UP)

48 हजार बीएड डिग्रीधारकों को सीटीईटी पहले चरण में मिली थी सफलता
इलाहाबाद। केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा (सीटीईटी) पास करने वाले प्रदेश के तीन हजार अभ्यर्थियों को मई तक सीबीएसई से जुड़े ग्रेड वन के स्कूलों में नौकरी मिल जाएगी। ग्रेड वन प्राइवेट स्कूलों ने दिसंबर माह में बोर्ड की पहल पर उन्हें रिक्तियों का ब्योरा भेजा था। बीच में विधानसभा चुनाव के कारण प्रक्रिया स्थगित कर दी गई थी। अब स्कूली परीक्षाएं खत्म होने के बाद बोर्ड की मान्यता एवं चयन इकाई ने नए सिरे से सीटीईटी पास अभ्यर्थियों की तैनाती के लिए अभियान शुरू किया है। स्कूलों की ओर से भेजी गई रिक्तियों पर विचार के बाद मई में तैनाती के लिए काउंसलिंग की तैयारी है।

Saturday, March 24, 2012

UPTET : Remove hurdeles in Recruitment of TET Candidates

शिक्षक नियुक्ति से रोक हटाएं
( UPTET : Remove hurdeles in Recruitment of TET Candidates )

रामपुर। टीईटी उत्तीर्ण संघर्ष मोर्चा ने जुलूस निकाल कलक्ट्रेट में प्रदर्शन किया। टीईटी पास युवा शनिवार को अंबेडकर पार्क में एकत्र हुए। उन्होंने पिछले दिनों विधानसभा के सामने किए गए लाठीचार्ज की निंदा की। बाद में जुलूस के रूप के में वे कलक्ट्रेट पहुंचे और नारेबाजी की। उनका कहना था कि शिक्षक नियुक्ति पर लगी रोक हटाई जाए। उन्हें जल्द नौकरी दी जानी चाहिए। मैरिट के आधार पर चयन किया जाए, जिससे उनके परिवारों से आर्थिक संकट हट सके। प्रदर्शन करने वालों में उमेश सिंह, राहुल सक्सेना, धीरेन्द्र, महेन्द्र, गुरपाल, सलीम, मुर्तजा, हरीश, नरेन्द्र, बीना, रति, भारती, अल्पना, रोजी आदि शामिल रहे।

News : Jagran (24.3.12)

News for TET Meetings on 25 March 2012

News for TET Meetings on 25 March 2012

Information from Facebook / Blog comments :

टीईटी संघर्ष मोर्चा मुरादाबाद की बैठक रविवार 25 मार्च 2012 को प्रात: 10 बजे अम्बेडकर नगर सिविल लाइन्स मुरादाबाद मे होगी
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‎27 march ko t.e.t.sanghars morcha ki baithak chandrasekhar azad park allahabad me hogi
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AGRA ME KAL 10 AM BAJE SHAEED SMARAL PAR SANJAY PLACE AGRA ME HAI..KAL SABHI BHAI /BEHEN JO AA SAKTE HAI WO PAUCHE... CONTACT8533930591
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हमीरपुर 28 मार्च की शाम 5 बजे अंबेडकर पार्क में बैठक होगी।
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UPTET : Unemployeds Paining with Tears filled in their eyes

बेरोजगारी का दर्द आंसू बनकर छलक रहा
(UPTET : Unemployeds Paining with Tears filled in their eyes )

मधुबन (मऊ) : पिछली मायावती सरकार में उत्तर प्रदेश में 7200 शिक्षकों के रिक्त पदों के भर्ती की प्रक्रिया जिस तेज गति से शुरु की गयी उसे देखकर आवेदनकर्ताओं को ऐसा लगा कि अध्यापक बनने का उनका सपना जल्द ही साकार होने वाला है। चूंकि सरकार द्वारा अध्यापकों के भर्ती की पूरी प्रक्रिया 31 दिसम्बर 2011 तक पूर्ण कर लेनी थी इसलिये आवेदकों को ऐसा लगा कि नया साल आने से पहले ही उनका सपना हकीकत का रूप ले लेगा लेकिन ऐसा नहीं हुआ। बीच में उत्पन्न हुई कुछ तकनीकी कमियों के लिये यह तिथि 31 जनवरी 2012 कर दी गयी।
तिथि बढ़ने से अच्छे नंबरों से सफल अभ्यर्थियों को कुछ मायूसी तो जरुर हुई लेकिन सब ने यह सोचकर खुद को तसल्ली दे दी कि चलो केवल एक महीने की ही बात है।

UPTET : Start Recruitment / Joining Process of TET Candidates

टीईटी अभ्यर्थियों की शुरू करें तैनाती प्रक्रिया(UPTET : Start Recruitment / Joining Process of TET Candidates)


हमीरपुर कार्यालय संवाददाता : टीईटी अभ्यर्थियों ने 27 मार्च तक भर्ती प्रक्रिया शुरू करने का निर्णय लेने की मांग मुख्यमंत्री से की है, साथ ही 20 मार्च को टीईटी अभ्यर्थियों पर हुये लाठीचार्ज की निंदा, दोषी पुलिस, अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गयी है।

प्राथमिक विद्यालय में 3.25 लाख शिक्षकों के पद खाली है, जिसमें मैरिट के आधार पर नियुक्ति की मांग की गयी है। अन्यथा की स्थिति में 30 मार्च को विधानसभा के सामने वे लोग फिर प्रदर्शन करेंगे। नई टीईटी परीक्षा तब तक न करायी जाये, जब तक कि पुरानी टीईटी अभ्यर्थियों की तैनाती नहीं हो जाती। टीईटी संघ के जिलाध्यक्ष नीरज निगम ने कहा कि टीईटी की क्रास चेकिंग करवाकर प्रक्रिया शीघ्र शुरु करायी जाये, क्योकि प्रत्येक अभ्यर्थी का 10 से 14 हजार रुपया खर्च हुआ है। ऐसा न करने पर टीईटी अभ्यर्थी उच्च न्यायालय की शरण लेने को मजबूर होंगे। आगामी आंदोलन की रुप रेखा के लिये 28 मार्च की शाम 5 बजे अंबेडकर पार्क में बैठक होगी। कपिल देव, रिजवान हाशमी, मधुराग, पूजा वर्मा, रघुवीर, शैलेंद्र पाठक, मीनाक्षी, पीयूष यादव, एडी द्विवेदी, सर्वेश, राहुल जैन, सुधीर शुक्ला, प्रमुख रुप से शामिल थे।

News : Jagran (24.3.12)

UPTET : Selection of Teacher Through TET Merit

UPTET : Selection of Teacher Through TET Merit

Recently some candidates, some people misguided saying -

Niyamavali / Government Order not contains - "Selection through TET Merit" and some are saying TET is only for eligibility and NOT a criteria for Selection.

See What is writte in Niyamavali -

See Page No. 12 , pt. (3) "The names of candidates in list prepared under sub-rule (2) shall then be arranged in such manner that their names shall be placed in descending order on the basis of the marks obtained in Teacher Eligibility Test conducted by the Government of Uttar Pradesh"

Source : http://www.scertup.org/Primary_Teacher_Niyukti_niyamawali_12th_sanshodhan.pdf

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See What is written in NCTE Notofication -
(9) (b) should give weightage to the TET scores in the recruitment process; however, qualifying the TET would not confer a right on any person for recruitment/employment as it is only one of the eligibility criteria for appointment.
http://www.ncte-india.org/RTE-TET-guidelines[1]%20(latest).pdf

It is NOT easier to change base for selection. And if it happens then TET Merit holder can go in court and selection process may gets suspension. Then candidate may have to wait for a long long time to wait for decision in court.

KVS, SSA Chandigarh etc. uses TET Merit for selection. Why people are NOT opposing it ?